भूत को कैसे पहचाना जाता है? – भूत-प्रेत बाधा के लक्षण और मुक्ति के उपाय – भुत-प्रेत जिन्हें नकारात्मक एनर्जी और आत्मा भी कहा जाता हैं। शास्त्रों में भी भुत-प्रेत और आत्मा के बारें में उल्लेख मिलता हैं। असमय मृत्यु के पश्चात आत्मा लम्बे समय तक भू लोक में भटकता रहता हैं। भगवान शिव और पार्वती जी के विवाह में जो बाराती गण थे उनमें लगभग भुत-प्रेत ही थे। जिन्हें देखने के बाद पार्वती जी के घर वाले डर गए थे। लगभग सभी धर्म के लोग भूत प्रेत में विश्वास करते हैं। हिन्दू धर्म शास्त्रों के अनुसार, जब किसी व्यक्ति की मृत्यु के पश्चात उसकी अंत्येष्टि सही तरीके से नहीं होती हैं तो वे भुत बनकर धरती पर भटकते रहते हैं। भूत को कैसे पहचाना जाता है? आइए जानते हैं।
भूत-प्रेत का नाम सुनते ही लोग भयभीत हो जाते हैं। कुछ लोग भूत-प्रेत को नकारात्मक उर्जा कहते हैं। हालांकि जिस तरह से भूत-प्रेत फिल्मों में दिखाएं जाते हैं वैसा कुछ नहीं होता हैं। भूत-प्रेत दिखाई नहीं देते हैं। परन्तु हमारे जीवन को नकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकते हैं। भूत प्रेत या बुरी नजर का शिकार होने पर कई लक्षण दिखाई देते हैं। घर में प्रेत बाधा के लक्षण या भूत को कैसे पहचाना जाता है? इसकी जानकरी विस्तार से नीचे पढ़ें।
भूत को कैसे पहचाना जाता है? – घर में प्रेत बाधा के लक्षण
भूत को पहचानने का एक ही तरीका हैं। अगर आप प्रेत बाधा से प्रभावित व्यक्ति के लक्षणों पर गौर करेंगे तो भुत को पहचाना जा सकता हैं। बुरी नजर और भूत-प्रेत से प्रभावित व्यक्ति का जीवन अचानक से पूरी तरह से बदल जाता हैं। व्यक्ति खुद पर से नियंत्रण खोने लगता हैं। मन नकारात्मक सोच के अधीन हो जाता हैं और शरीर बीमार होने लगता हैं। कुछ भी मन मुताबिक नहीं होता हैं। सोच के विपरीत चीजे होने लगती हैं। तो आइए विस्तार से जानते हैं की भूत को कैसे पहचाना जाता है? अर्थात घर में प्रेत बाधा के लक्षण क्या क्या हैं।
- मन का अशांत और बेचैन होना
- कुछ भी खाने-पीने का मन न करना
- हमेशा आलस महसूस होना
- हर कार्य में असफलता हाथ लगना
- आँखों के नीचे काले या लाल रंग के धब्बे पड़ना
- हर रोज बुरे और डरावने सपने आना
- मन में अज्ञात डर बैठ जाना
- खुद से ही बातें करते रहना
- बनते कार्य भी अचानक से बिगड़ने लगना
- शारीरक बीमरियों से बार-बार ग्रस्त होना
- घर में रोज बेमतलब के झगड़े होना
- हमेशा किसी के पैरों की आवाज सुनाई देना
- कुत्ते या किसी अन्य जानवर का बिना किसी की उपस्थिति लगातार आवाजे निकालते रहना
- लगातार रोने या हंसने की आवाजे सुनाई देना
भूत को कैसे पहचाना जाता है? यह तो आप समझ ही गए होंगे। भुत को पहचानने के लिए लक्षणों की सहायता ली जाती हैं। माना जाता हैं की भुत-प्रेत हमारे शरीर को तभी प्रभावित करते हैं जब आपकी इच्छा शक्ति कमजोर होती हैं। तांत्रिक जादू टोने और तन्त्र-मन्त्र से भुत-प्रेत को अपने वश में करते हैं। हालांकि आज के समय में सभी तांत्रिक ढोंग करते हैं। शास्त्रों में भूत-प्रेत को भगाने के लिए प्रेत बाधा निवारण हनुमान मंत्र के बारें में बताया गया हैं। इसके अलावे कुछ अन्य प्राचीन उपाय भी बताएं गए हैं जिसके द्वारा भुत-प्रेत अर्थात नकारात्मक शक्ति को घर से बाहर निकाल सकते हैं।
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घर से भूत-प्रेत कैसे निकाले
घर से भुत-प्रेत और नकारात्मक शक्तियों को दूर रखने के लिए कई उपाय हैं। बुरी शक्तियों से बचाव के लिए प्रेत बाधा निवारण हनुमान मंत्र और नमक का उपाय सबसे प्रसिद्ध उपाय हैं। घर की साफ़-सफाई में कमी, यत्र-तत्र थूकना, वास्तु दोष और मल-मूत्र का घर के अंदर होना बुरी शक्तियों को आकर्षित करते हैं। इसलिए घर को साफ़-सुथरा रखें और यहाँ वहां घर के अंदर न थूके।
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नमक से भूत प्रेत कैसे भगाएं?
माना जाता हैं की नमक से भूत प्रेत निकट नहीं आते हैं। अगर नकारात्मक शक्तियां आपका पीछा नहीं छोड़ रहे हैं तो डरने की जरूरत नहीं हैं। समुंद्री नमक का उपाय आपकी इस समस्या के निवारण में आपकी मदद करता हैं। एक पात्र में समुंद्री नमक को मिलाकर खुद के ऊपर और घर में छिडकाव करने से बुरी शक्तियां स्वयं ही आपसे दूर होने लगती हैं।
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प्रेत बाधा निवारण हनुमान मंत्र
भूत पिसाच निकट नहिं आवै – महाबीर जब नाम सुनावै सहित पुरे हनुमान चालीसा को पढने से प्रेत का बाधा निवारण होता हैं। नकारात्मक शक्तियां दम दबाकर घर से बाहर निकल जाती हैं। इसके अलावे
ॐ हनुमन्नंजनी सुनो वायुपुत्र महाबल:, अकस्मादागतोत्पांत नाशयाशु नमोस्तुते, ॐ हं हनुमते रुद्रात्मकाय हुं फट् मंत्र का जाप भी प्रेत बाधा का निवारण करता हैं। गंगा जल के साथ मन्त्र को पढ़ते हुए प्रभावित व्यक्ति या घर पर जल को छिड़क कर बुरी शक्तियों को दूर कर सकते हैं।
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भूत-प्रेत हनुमान जी से क्यों डरते हैं
हनुमान जी भगवान शिव के ही अंश हैं। उनके गुरु सूर्य नारायण और स्वयं भगवान शिव हैं। शास्त्रों में हनुमान जी को संकट मोचन भी कहा गया हैं। जिसका अर्थ हैं संकट को हर लेने वाला। भगवान शिव ने संकट मोचन श्री हनुमान को नाकारात्मक शक्तियों से प्रभावित न होने का वरदान दिया था। इसी वजह से भुत-पिशाच और बुरी शक्तियों से छुटकारा पाने के लिए हनुमान जी का नाम ही पर्याप्त हैं।
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निष्कर्ष – भूत को कैसे पहचाना जाता है?
भूत को कैसे पहचाना जाता है? – भूत-प्रेत बाधा के लक्षण और मुक्ति के उपाय क्या हैं इसकी जानकरी विस्तार से पोस्ट में बताया गया हैं। हनुमान जी का नाम लेते ही भूत प्रेत का प्रभाव नष्ट होने लगता हैं। अगर आप भी कई महीनों या दिनों से भुत-प्रेत के लक्षणों से ग्रसित हैं तो हनुमान चालीसा का पाठ अवश्य करें। प्रेत बाधा निवारण हनुमान मंत्र और भूत को कैसे पहचाना जाता है? की यह जानकारी निश्चित ही आपको पसंद आयी होगी।
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